करोना अभी गया नहीं है, त्योहारों पर रहे विशेष सावधान

संवाद सहयोगी | पब्लिक एशिया
Updated: 12 Oct 2021 , 17:27:05 PM
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ध्यान रहे की करोना अभी इस देश से गया नहीं है। देश में अभी भी इसके संक्रमण का खतरा मौजूद है। भारत में केरल, चेन्नई, बेंगलुरु, मुंबई, दिल्ली,असम, त्रिपुरा और पूर्वोत्तर राज्यों में कोविड-19 के संक्रमण के मरीज बड़ी संख्या में पाए जा रहे हैं। हमें आने वाले 3 महीने अतिरिक्त सतर्कता के गुजारने होंगे। आने वाले 2 माह लगातार त्योहारों के दिन होंगे बाजारों में भीड़ होगी, पर्यटन स्थल पर लोग एकत्र होंगे और एक दूसरे के घरों में आवाजाही भी होगी । ऐसे में हमें विश्व स्वास्थ्य संगठन के द्वारा दी गई गाइडलाइंस का पालन करते हुए सबसे पहले दोनों इंजेक्शन लगवाने अनिवार्य होंगे। इसके अलावा हमे अन्य सावधानियां पूरी तरह परिपालन में लानी होगी। भारत के अलावा अमेरिका तो पूरी तरह कोविड-19 की दूसरी और तीसरी लहर के गिरफ्त में है ही ।


अमेरिका में 7 लाख लोग मृत्यु को प्राप्त हो चुके हैं, भारत में लगभग 4 लाख से अधिक लोगों को कोविड-19 निकल चुका है और संक्रमण की लहर जारी है। इसके अलावा ब्रिटेन ,कनाडा, न्यूजीलैंड, ऑस्ट्रेलिया, इजरायल जैसे देश भी संक्रमण की तीसरी लहर से बच नहीं पा रहे हैं। ब्रिटेन में करोना संक्रमण के चलते क्रिकेट के टेस्ट मैच को रद्द करना पड़ा।ऐसे में भारत जैसे विशाल जनसंख्या वाले देश को विशेष सतर्क होकर विश्व स्वास्थ्य संगठन की दी गई गाइडलाइंस का 100% परीपालन किया जाना अति आवश्यक है। कोविड-19 की तीसरी लहर की गेंद अब भारत के नागरिकों के पाले में आकर ठहरी हुई है। भारत के जनमानस को तीसरी लहर को खतरे को देखते हुए विशेष सतर्कता बरतनी चाहिएl भारत में विशेषकर केरल राज्य में कोविड-19 की तीसरी लहर का प्रकोप थमता हुआ नहीं दिख रहा है। वहां रोज 20, हजार से ज्यादा संक्रमित मरीज पाए जा रहे हैं। वस्तुतः वहां वैक्सीनेशन की रफ्तार भी बहुत तेज हुई है, और लगभग 90% लोगों को वैक्सीनेशन किया जा चुका है।


तो फिर ऐसा क्या हुआ है कि केरल पूरे देश का कोविड-19 के संक्रमण का बड़ा केंद्र बन चुका है। भारत में कॅरोना की दूसरी लहर अभी खत्म नहीं हुई है। जिसका परिणाम केरल में कोविड-19 की तीसरी लहर का विस्फोट हुआ था ।ऐसे में वहां स्थिति नियंत्रण से बाहर होते जा रही हैl अब केरल में नई परेशानी का सबब कोविड-19 का नया वायरस निपाह बन गया हैl इस वायरस से एक बच्चे की मृत्यु हुई है, और इस से संपर्क में रहने वाले 20 लोग सिपाह से ही संक्रमित पाए गए थेl केरल की स्थिति चिंताजनक है। केंद्र शासन भी वहां सहायता के लिए हर तरह संभव प्रयास कर रही हैl इसी तरह पूरे देश में ताजा सूचना के अनुसार कल यानी 10 अक्टूबर को18 हजार से ज्यादा संक्रमित लोग पाए गए थेl इसी तरह मुंबई,दिल्ली,हैदराबाद, कोच्चि,कोलकाता,मद्रास में कभी भी कोविड-19 के संक्रमण कि किसी लहर की विस्फोटक स्थिति बन सकती हैl विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा कोरोना की तीसरी लहर की लगातार चेतावनी देने के बाद भी यदि हम नहीं समझते हैं, तो यह हमारी ही जिम्मेदारी हैl न्यूज़ एजेंसी के अनुसार निपाह वायरस बच्चों तथा युवा लोगों को ज्यादा संक्रमित करता है ।एवं इसकी संक्रमण की तीव्रता डेल्टा वैरीअंट से कहीं ज्यादा हैlअमेरिका, ब्रिटेन, इजराइल, दक्षिण अफ्रीका, ब्राजील, इंडोनेशिया,थाईलैंड, म्यांमार आदि देशों में यह संक्रमण तेजी से फैला हैl इंडोनेशिया जनसंख्या के हिसाब से विश्व में चौथे नंबर का देश है।


वहां करोना के तीसरी लहर की स्थिति अत्यंत विस्फोटक है। इंडोनेशिया, मलेशिया तथा म्यानमार में लगभग कुल 2लाख लोगों की मृत्यु हो चुकी है। भारत में भी करोना की तीसरी लहर की स्थिति निरंतर मेट्रोपॉलिटन सिटी से लेकर देश राज्यों की राजधानी में भी चिंताजनक बनी हुई है। भारत के पूर्वोत्तर राज्यों में पहले से ही करोना की तीसरी लहर दस्तक दे चुकी है। अरुणाचल प्रदेश, हिमाचल प्रदेश,असम में संक्रमित लोगों की संख्या बढ़ती जा रही है। इन हालातों में राज्य सरकारों,केंद्र सरकार समाजिक संगठनों एन,जी,ओ को फिर से सक्रिय होकर वैक्सीनेशन की रफ्तार को लगभग दुगुना करना होगा। तब जाकर हम इससे निजात पा सकेंगे। अमेरिका, इजरायल, ब्रिटेन, फ्रांस,कनाडा, ऑस्ट्रेलिया में 60 साल से ऊपर वरिष्ठ नागरिकों को तीसरा बूस्टर डोज लगाने की तैयारी है। और इतने ही लगभग वैक्सीनेशन के लिए कतार में लगे हुए हैं।


इन परिस्थितियों में बुजुर्गों को तीसरे बूस्टर डोस देने की कल्पना करना बेमानी है। देश में जब सभी लोगों को कोविड-19 का इंजेक्शन लग जाएगा तब जाकर बूस्टर डोस की कल्पना की जा सकती है। वर्तमान परिस्थितियों में हम सबको अत्यंत सावधान होकर विश्व स्वास्थ्य संगठन तथा भारत देश के स्वास्थ्य विभाग के द्वारा दी गई गाइडलाइंस यानी दिशा निर्देश का अक्षर से पालन कर मास्क लगाकर ,आपस में पर्याप्त दूरी रख,भीड़-भाड़ से दूर रहकर बारंबार हाथ धोने होंगे, तब जाकर हम संक्रमण से बच पाएंगे। वैसे सबसे कारगर उपाय वैक्सीन लगवाना ही है। भारत में वैक्सीनेशन की रफ्तार को बहुत ज्यादा तेज करने की आवश्यकता होगी।ऐसे में भारत को विशेष सतर्कता रखकर ज्यादा वैक्सीनेशन का प्रयास किया जाना चाहिए। अन्यथा इतने बड़े विशाल देश में केरल राज्य की तरह किसी भी राज्य की विस्फोटक की सूचना किसी भी दिन समाचार पत्रों, टीवी चैनल, तथा मीडिया के माध्यम से मिल सकती है। जो ज्यादा खतरनाक होगी। इस दौरान बड़े शहरों में स्कूल कॉलेज खोलने की प्रक्रिया तेज हो गई है। स्कूल कॉलेज को खोलना भी कम खतरनाक नहीं होगा। इससे संक्रमण का खतरा नौनिहालों और युवा पीढ़ी पर हो सकता है। कोविड-19 का तीसरा आक्रमण सबसे ज्यादा बच्चों और युवा पीढ़ी पर होने वाला है।


अतः विशेष रूप से इन सब को सचेत कर स्वास्थ्य संगठनों के दिशा निर्देश का पालन करने की हिदायत देकर विशेष रूप से प्रशिक्षित किया जाना चाहिए। देश के नागरिकों से अपेक्षा है कि वह स्वास्थ्य संगठनों द्वारा दी गई दिशा निर्देशों के परिपालन में अत्यंत सतर्क होकर अपना सम व्यवहार बनाए रखें अन्यथा कोविड-19 की तीसरी लहर को आने से रोकना मुश्किल हो जाएगा।
संजीव ठाकुर, चिंतक, लेखक, रायपुर छत्तीसगढ़, 9009 415 415,





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